स्वच्छ भारत अभियान के तहत शौचालय बनाने के लिए किस प्रकार करना है आवेदन (Swachh Bharat Mission)
देश में स्वच्छ भारत अभियान आरम्भ किया गया है। यह राष्ट्रीय स्तर का अभियान है जिसका उद्देश्य गलियों, सड़कों तथा अधोसंरचना को साफ-सुथरा रखना और कूड़ा साफ करना है। 2 अक्टूबर, साल 2014 को स्वच्छ भारत अभियान आरम्भ किया गया। जिन परिवार की आर्थिक स्थिति काफी कमजोर होने के कारण वह शौचालय का निर्माण नहीं करवा रहे है। उन्हें शौच के लिए घर से बाहर जाना पड़ता है। केन्द्र सरकार द्वारा इन सभी असुविधा को दूर कर वातावरण स्वच्छ रखने के लिए ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले सभी नागरिको के लिए शौचालय बनवाने की सुविधा उपलब्ध कराई गयी है। आप भी स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत मुफ्त शौचायल योजना में आवेदन करके लाभ उठा सकते हैं। इसके लिए आपको ट्रैक्टरगुरू की इस पोस्ट में योजना से संबंधित कुछ जरूरी जानकारी दी जा रही है। आइये इस पोस्ट के माध्यम से जानते हैं घर में मुफ्त शौचालय बनवाने के लिए आखिर क्या करना होगा?
स्वच्छ भारत मिशन शौचालय निर्माण
Swach bharat abhiyan के साथ शौचालय योजना भी चलायी गयी। ताकि लोग खुले में शौच ना करे और गंदगी न फैले। खुले में शौच कई सारि बीमारियों को निमंत्रण देना है। इसको देखते हुए शौचालय निर्माण मिशन शुरू किया गया। ऐसे में गरीब परिवार जिसकी आर्थिक स्थित कमजोर है उन्हें सरकार द्वारा शौचालय बनवा कर दिए गए या शौचालय बनवाने के लिए वित्तीय सहायता दी गयी?
स्वच्छ भारत मिशन का उद्देश्य
देश के ग्रामीण क्षेत्रो के बहुत से ऐसे लोग है जिनके घरो में अभी भी शौचालय नहीं है और ऐसे कुछ लोग आर्थिक रूप से कमजोर होने के कारण भी अपने घरो में शौचालय नहीं बनवा पाते हैं। इस समस्या को देखते हुए प्रधानमंत्री ने स्वच्छ भारत अभियान शुरू किया है। स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत भारत सरकार द्वारा ग्रामीण क्षेत्रो के लोगो को शौचालय अनुदान देकर घर में शौचालय बनवाने में सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना के जरिये ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों के जीवन स्तर में सुधार करना और ग्रामीण क्षेत्रों में स्थायी स्वच्छता को बढ़ावा देना है। प्रधानमंत्री स्वच्छ भारत मिशन के जरिये सामुदायिक प्रबंधन और पर्यावरणीय सफाई व्यवस्था का विकास करना है।
प्रधानमंत्री स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत बने शौचालय
स्वच्छ भारत मिशन के तहत व्यक्ति, क्लस्टर और सामुदायिक शौचालयों के निर्माण के माध्यम से खुले में शौच की समस्या को कम करना या समाप्त करना है। इसके लिए सरकार ने 2 अक्टूबर, 2014 से स्वच्छ भारत मिशन आरम्भ किया। ग्रामीण भारत में 1.96 लाख करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से 1.2 करोड़ शौचालयों का निर्माण करके खुले में शौच मुक्त भारत (ओडीएफ) को हासिल करने का लक्ष्य रखा है। सरकार ने 2 अक्टूबर, 2019 तक ग्रामीण घरों में शौचालय का निर्माण के साथ देश के ग्रामीण क्षेत्रों को खुले में शौच मुक्त (ओडीएफ) बनाना था। स्वच्छ भारत मिशन के तहत देश में लगभग 10.9 करोड़ व्यक्तिगत घरेलू शौचालय का निर्माण करवाया गया है।
प्रोत्साहन राशि को बढ़ाया गया
स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत सभी ग्रामीण क्षेत्रों को खुले में शौच मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा गया था। केंद्र सरकार इस योजना के तहत सभी गरीब परिवारों को शौचालय बनवाने के लिए 10 हजार रुपये की सहायता को बढ़ाकार 12 हजार रूपए कर दिया गया है। इसमें हाथ धोने, शौचालय की सफाई एवं भंडारण को भी शामिल किया गया है। इस तरह के शौचालय के लिए सरकार की तरफ से मिलने वाली सहायता 9,000 रुपये और इसमें राज्य सरकार का योगदान 3,000 रुपये होगा।
राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण के लिए शुरू किए थे तीन दौर
स्वच्छता और पेयजल विभाग ने स्वच्छ भारत मिशन को विश्व बैंक के समर्थन के तहत एक स्वतंत्र सत्यापन एजेंसी के माध्यम से राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण (एनएआरएसएस) के तीन दौर शुरू किए थे। इस सर्वेक्षण के प्रमुख बिंदुओं में से एक शौचालय के उपयोग के लिए पानी की उपलब्धता थी। राष्ट्रीय वार्षिक ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण 2019-20 के परिणामों के अनुसार, जिन घरों में शौचालय की सुविधा थी। उनमें से 99.6 प्रतिशत घरों में पानी की उपलब्धता थी एवं 95.2 प्रतिशत ग्रामीण आबादी के पास शौचालय की सुविधा थी, जिसका उपयोग कर रहे थे।
स्वच्छ भारत मिशन के तहत फ्री शौचालय के लिए जरूरी दस्तावेज
- आधार कार्ड
- बैंक खाता पासबुक
- पासपोर्ट साइज फोटो
- वैध मोबाइल नंबर
- आय प्रमाण पत्रत्र
- वोटर आइडी कार्ड
स्वच्छ भारत अभियान का महत्व
स्वच्छ भारत अभियान में सरकार और हम काफी हद तक सफल हो गये हैं। जैसा की कहा गया है की”स्वच्छता भगवान की ओर अगला कदम है” हम भारत के लोग अगर हर प्रभावी रुप से इसका पालन करे तो आने वाले समय में, स्वच्छ भारत अभियान से पूरा देश साफ़ सुथरा नज़र आएगा और हमारी सांस्कर्ति के अनुसार भागवान वही वास करते है जहां स्वच्छता होती है
उद्देश्य
- स्वच्छता, साफ-सफाई तथा खुले में शौच के उन्मूलन को बढ़ावा देकर ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की सामान्य गुणवत्ता में सुधार लाना है।
- ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता के कवरेज को बढ़ावा देकर दिनांक 02 अक्टूबर, 2019 तक स्वच्छ भारत के सपने को साकार करना।
- जागरूकता लाकर और स्वास्थ्य संबंधी शिक्षा के माध्यम से स्थायी स्वच्छता प्रक्रियाएँ और सुविधाएँ अपनाने के लिए समुदायों को प्रेरित करना।
- पारिस्थितिकीय रूप से सुरक्षित और स्थायी स्वच्छता के लिए लागत प्रभावी और उपयुक्त प्रौद्योगिकियों को बढ़ावा देना।
- ग्रामीण क्षेत्रों में संपूर्ण स्वच्छता लाने के लिए वैज्ञानिक ठोस एवं तरल अपशिष्ट पदार्थ प्रबंधन पर बल देते हुए समुदायिक प्रबंधित स्वच्छता प्रणालियों का आवश्यकतानुसार विकास करना।